बिहार विधानसभा की 243 सीटों के अब तक प्राप्त परिणामों और रुझानों से स्पष्ट हो गया है कि नीतीश कुमार की अगुवाई वाला जद [यू] भाजपा गठबंधन तेजी से तीन चौथाई बहुमत की तरफ बढ रहा है।

पटना। बिहार विधानसभा की 243 सीटों के अब तक प्राप्त परिणामों और रुझानों से स्पष्ट हो गया है कि नीतीश कुमार की अगुवाई वाला जद [यू] भाजपा गठबंधन तेजी से तीन चौथाई बहुमत की तरफ बढ रहा है। राजग ने 18 सीटों पर जीत दर्ज की है जबकि 200 पर आगे चल रहा है। इनमें से जदयू को 8 और भाजपा को 10 सीटें मिली हैं और दोनों दल क्रमश: 99 और 76 सीटों पर आगे हैं। विपक्षी राजद लोजपा गठबंधन पिछले चुनावों के मुकाबले आधी से भी कम सीटों पर सिमटता नजर आ रहा है। राजद को अब तक एक भी सीट नहीं मिली हैं लेकिन वह 24 सीटों पर आगे है जबकि उसकी सहयोगी लोक जनशक्ति पार्टी को भी अब तक कोई सीट नहीं मिली है लेकिन वह छह सीटों पर आगे चल रही है। पिछली बार राजद के पास 54 सीटें थीं जबकि लोजपा के दस विधायक थे। इन दोनों दलों ने अलग अलग चुनाव लड़ा था।नीतीश कुमार ने बुधवार को बिहार के राज्‍यपाल देवानद कुंवर से मिल कर मुख्‍यमंत्री पद से इस्‍तीफा दे दिया। अब नई सरकार बनाने का दावा पेश किया जाएगा। राज्‍यपाल ने उन्‍हें नई व्‍यवस्‍था होने तक मुख्‍यमंत्री बने रहने के लिए कहा है। नीतीश शुक्रवार दोपहर ढाई बजे दोबारा मुख्‍यमंत्री पद की शपथ  लेने वाले हैं।

बातें बनाने का समय गया: नीतीश

नीतीश कुमार दोपहर दो बजे मीडिया के सामने आए। उन्‍होंने कहा कि यह बिहार के लोगों की जीत है, लोगों ने आगे बढ़ने का फैसला किया और वे राज्‍य को तरक्‍की के रास्‍ते पर देखना चाहते हैं। उन्‍होंने कहा कि अभी बहुत काम बाकी है और अगले पांच साल में वह और मेहनत करने से पीछे नहीं हटेंगे। नीतीश ने कहा कि अब राजनीति में प्रतिस्‍पर्धा इस पर होनी चाहिए कि कौन सबसे अधिक काम करता है।

लालू के घर सन्‍नाटा

बिहार विधानसभा चुनाव में आए जनादेश के बाद राजग खेमे में उत्‍साह की लहर दौड़ गई है और राजद खेमे में मायूसी छाई हुई है। राजद के मुखिया लालू प्रसाद यादव अपने बंगले में बंद रहे। हर बार की तरह इस बार सुबह से ही उनके बंगले पर कोई चहल-पहल नहीं थी। भाजपा-जद(यू) खेमे में जबरदस्‍त खुशी है। भाजपा दफ्तर में कार्यकर्ता मिठाइयां बांट रहे और आतिशबाजी कर रहे हैं। पहले मतगणना के दिन लालू के बंगले पर सुबह-सुबह ही कार्यकर्ताओं, नेताओं और पत्रकारों का जमावड़ा लग जाता था। चाय-नाश्‍ते का इंतजाम होता था और लालू बीच-बीच में सबसे बातें करते रहते थे। पर इस बार बंगले में खामोशी छाई रही। केवल कुछ कार्यकर्ता विभिन्न चैनलों के सामने बैठे हुए मतगणना के परिणाम देखते रहे। 

राबड़ी-साधु की हार

लालू यादव के परिवार का इस चुनाव से एक तरह से सफाया हो गया है। उनकी पत्‍नी राबड़ी देवी राघोपुर और सोनपुर से चुनाव लड़ी थीं। पर दोनों ही जगह से वह हार गई हैं। लालू के साले साधु यादव भी गोपालगंज से चुनाव हार गए हैं। राघोपुर में जनता दल (यूनाइटेड) के सतीश कुमार जीते। उन्होंने करीब 11,000 मतों से राबड़ी देवी को हराया।

चुनाव नतीजों में पहली जीत बीजेपी के खाते में गई। चनपटिया से बीजेपी उम्मीदवार  चंद्रमोहन राय ने जीत दर्ज की है। दूसरी जीत भी बीजेपी के नाम ही रही। बेतिया से रेनू देवी ने जीत दर्ज की।

बांका लोकसभा सीट पर हुए उपचुनाव की मतगणना भी बुधवार को ही की जाएगी। राज्यभर में बनाए गए 42 मतगणना केंद्रों की सुरक्षा में केंद्रीय अर्धसैनिक बलों को लगाया गया है।

उम्मीद से प्रभावी जीत है- गड़करी
'अभूतपूर्व जीत है। पार्टी ने उम्मीद से ज्यादा प्रभावी जीत दर्ज की है। यह जातिवाद की हार और विकास की जीत है। पार्टी कार्यकर्ताओं ने एकजुटता से काम किया और इसलिए यह चमत्कार हुआ।'

- नितिन गड़करी, बीजेपी अध्यक्ष

बिहार में नहीं थी ज्यादा उम्मीद-सोनिया 

' हमें बिहार में ज्यादा उमीद नहीं थी। लेकिन परिणाम काफी निराशाजनक हैं। अब पार्टी को शून्य से शुरू करना होगा।'

सोनिया गांधी, कांग्रेस अध्यक्ष

विकास के मुद्दे ने जादू दिखाया 

' विकास के मुद्दे ने जादू दिखाया और साफ है कि अब मतदाता विकास के ही मुद्दे पर मतदान करता है। मैं जेडी(यू) और बीजेपी गठबंधन को बधाई देता हूं।'

पी चिदंबरम, केंद्रीय गृह मंत्री

बेहतर कानून व्यवस्था का लाभ मिला नीतीश को

' नीतीश कुमार के शासन में कानून व्यवस्था की हालत निश्चित ही सुधरी है, जिसका उन्हें लाभ मिला। कांग्रेस के कार्यकर्ताओं का मानना है कि पार्टी को अब अकेले ही चुनाव लड़ना चाहिए और इसीलिए पार्टी ने बिहार में किसी से तालमेल नहीं किया। पार्टी भविष्य में भी अकेले ही चुनाव लड़ेगी।'

जयंती नटराजन. कांग्रेस प्रवक्ता

मुश्किल समय है कांग्रेस के लिए

'कांग्रेस के लिए बिहार में निश्चित ही मुश्किल समय है। पार्टी आंकलन करेगी कि पार्टी नेताओं की सभा में उमड़ी भीड़ वोटों में क्यों नहीं बदली। मैं पार्टी की हार की नैतिक जिम्मेदारी लेता हूं। पार्टी का बिहार में चुनाव लड़ने का फैसला गलत नहीं था।'

-- मुकुल वासनिक, कांग्रेस महासचिव और बिहार के प्रभारी
परिवारवाद की राजनीति करने वाले नेताओं को सबक
'बिहार में जनता ने विकास के लिए वोट दिया है। यह उन नेताओं के लिए कड़ा सबक है जो सांप्रदायिकता को बढ़ावा देते हैं और सामाजिक न्‍याय का छलावा करके सिर्फ परिवारवाद को आगे बढ़ाते हैं।'
 
- रविशंकर प्रसाद, भाजपा प्रवक्‍ता

अभूतपूर्व जीत, देश करेगा अनुसरण
'यह अभूतपूर्व जीत है और उम्मीद है कि पूरे देश इसका अनुसरण करेगा। कांग्रेस का जादू गुम हो गया है। अब साफ है कि जो विकास की बात करेगा और बेहतर शासन चलाएगा, वही सरकार बनाएगा। '

- सुषमा स्वराज, लोकसभा में विपक्ष की नेता

 हम निराश हैं परिणाम से

' हम परिणाम से निराश हैं, लेकिन यह कहना गलत है कि राहुल गांधी का जादू नहीं चला। उनकी सभाओं में काफी भीड़ उमड़ी। पार्टी नतीजों का विश्लेषण करेगी और उसी के बाद कुछ टिप्पणी की जा सकती है। '

राजीव शुक्ला, कांग्रेसी नेता

साफ छवि का लाभ मिला बीजेपी को

' भाजपा ने साफ़ छवि वाले लोगों को सामने रखा और जनता ने उन पर यकीन किया। नीतीश कुमार ने कभी भी न्याय देने में कोई आनाकानी नहीं की। उन्होंने न्यायपूर्ण शासन चलाया और इसी का उन्हें लाभ मिला। '

शाहनवाज़ हुसैन, भाजपा नेता 

जीत का श्रेय मुखिया नीतीश कुमार को- सीपी ठाकुर
 
' जीत का श्रेय मुखिया नीतीश कुमार को जाता है। सरकार ने काफी बेहतर काम किया है। बिहार की जनता ने एक बार फिर हमपर भरोसा किया है। लालू ने बिहार को बर्बाद कर दिया और जनता इसे भूली नहीं है। इसी कारण आज लालू बिहार में काफी कमज़ोर हो गए है।'

सीपी ठाकुर, भाजपा के बिहार प्रदेश अध्यक्ष 

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