निरंकारी बाल समागमों के आयोजन से बच्चों में मानवीय गुणों का विकास सम्भव -- संजीवन सिंह जी

    

शिमला: 26 दिसम्बर,  ( विजयेन्दर शर्मा) । बच्चों में मानवीय गुणों का विकास करने तथा पारिवारिक एवं  सामाजिक जीवन में सहयोग की  भावना को बढ़ावा देेने के उद्देश्य से आज  बैमलोई स्थित सन्त निरंकारी सत्संग भवन में क्षेत्रीय स्तर पर निरंकारी बाल सन्त समागम का आयोजन किया गया, जिसमें लेखन, चित्रकला, प्रश्नोत्तरी एवं अन्ताक्षरी प्रतियोगिता मेें शिमला, सोलन, कसौली, परवाणू, फायल (तारादेवी), सुबाथु, नालागढ़, ठियोग और बरोटीवाला से आए निरंकारी बाल सन्तों ने भाग लिया। इसके अलावा विचारों, गीतों और कव्वालियां की प्रस्तुति के माध्यम से भी बच्चों ने प्यार एकता एवं भाईचारे का संदेश दिया।

    चण्डीगढ़ से आये सन्त निरंकारी मिशन के केन्द्रीय प्रचारक श्री संजीवन सिंह जी ने कार्यक्रम की अध्यक्षता करते हुए अपने सम्बोधन में कहा कि निंरकारी बाबा हरदेव सिंह जी द्वारा दी जा रही शिक्षाओं को जिस प्रकार बच्चों ने प्रदर्शित किया है, वह आज के समाज के लिए एक मिसाल है। उन्होेंने कहा कि आज के बच्चे कल के आदर्श नागरिक बनेंगे इसलिए बच्चों को ऐसे मंच की आवश्यकता है, जहां उन्हें स्वच्छ समाज के निर्माण के लिए प्रेरणा मिल सके। सन्त निरंकारी मिशन द्वारा बच्चों को ऐसा वातावरण व शिक्षाएं दी जा रही हैं जिससे वे समाज तथा अपने आप में मानवीय मूल्यों का विकास करने के साथ-साथ समाज सेवा जैसी महत्वपूर्ण शिक्षा को भी ग्रहण कर रहे है।

     सन्त निरंकारी मिशन द्वारा किये जा रहे कार्यों का जिक्र करते हुये उन्होंने कहा कि आध्यात्मिक उन्नति के अलावा मिशन द्वारा समाज सेवा, पर्यावरण संरक्षण, रक्तदान आदि के क्षेत्र में कार्य करने के अतिरिक्त कन्या भ्रूण हत्या पर अंकुश लगाने और सादी शादियों को बढ़ावा देने के लिए भी कार्य किया जा रहा है।

मिशन के प्रचारक श्री संजीवन सिंह जी ने कहा कि मानव का शरीर किराये का एक घर है, आत्मा इस मकान में कुछ समय के लिए रहती है, जिसे एक दिन छोड़ना है। अतः मानव का यह कर्तव्य है कि वह अपने निज घर का पता करे, ताकि मानव जीवन के वास्तविक उद्देश्य की प्राप्ति की जा सके। उन्होंने कहा कि नव वर्ष में इस प्रकार के बाल समागमों का प्रदेश भर में आयोजन किया जाएगा ताकि बच्चे आध्यात्मिक विकास के साथ-साथ समाज सेवा की प्रेरणा भी प्राप्त कर सके।

इस मौके पर विभिन्न प्रेरक प्रतियोगिताओं के विजयी प्रतिभागियों तथा समागम में भाग लेने आए सभी बच्चों को पुरस्कार वितरित भी किये।

     शिमला बाल संगत के प्रभारी श्री बलराज जी ने समस्त बाल संगत के लिए सद्गुरू बाबा जी के आदेशों एवं उपदेशों के अनुसार जीवन जीने की प्रार्थना की तथा समागम में उपस्थित समस्त बच्चों व श्रद्धालुओं का श्री निमरत प्रीत सिंह भुल्लर जी ने धन्यवाद किया। मंच संचालन दास (श्री राम कृष्ण शर्मा जी) ने किया।
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BIJENDER SHARMA

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