कालेज छात्रों ने जाना भ्रामक समाचारों को पहचाना
आनलाइन प्रशिक्षण में प्रो. उमेश आर्य ने दी ट्रेनिंग
धर्मशाला, 13 नवम्बर (विजयेन्दर शर्मा) । सोशल मीडिया और आनलाइन साइटस भ्रामक एवं नकली समाचार फैलाने का सबसे बड़ा माध्यम है। आम जनमानस बिना किसी पुष्टि के ऐसी भ्रामक व तथ्य हीन समाचारों को आगे शेयर कर देते हैं। नेताजी सुभाष चंद्र बोष स्मारक में पत्रकारिता एवं जनसंचार संकाय के छात्रों को आनलाइन प्रशिक्षण कार्यक्रम को संबोधित करते हुए गुरू जंबेशवर विश्वविद्यालय के मीडिया स्टडीज के डीन प्रो. उमेश आर्य ने यह बात कही। उन्होंने कहा कि सोशल मीडिया प्लेटफार्म पर तथ्यहीन भ्रामक खबरें फैलाने पर दोषी व्यक्तियों पर भारतीय दंड संहिता की विभिन्न धाराओं के तहत कानूनी कारवाई की जा सकती हे। उन्होंने कहा कि सोशल मीडिया प्लेटफार्म का कार्य जनता को सच परोसना हे, लेकिन यह फर्जी अफवाहें फैलाने का सबसे प्रमुख माध्यम बन गए हैं। उन्होंने छात्रों को नकली व भ्रामक समाचारों की पहचान करने की हैंड आन ट्रेनिंग दी। साथ ही उन्होंने इससे संबंधित टूलस से भी छात्रों को अवगत करवाया इससे पूर्व महाविद्यालय की प्राचार्य डा. अंजू बत्ता सहगल ने प्रो. उमेश आर्य का स्वागत करते हुए कहा कि भ्रामक खबरें तेजी से आनलाइन प्लेटफार्म पर फैलती हैं जिनपर लगाम लगाना जरूरी हे। उन्होंने कहा कि हमीरपुर महाविद्यालय के पत्रकारिता विभाग का यह प्रयास सराहनीय हे कि छात्रों को गूगल न्यूज इनिसिएटिव के भारतीय ट्रेनर प्रो. उमेश कार्य से यह प्रशिक्षण हासिल हो रहा हे। इस मौके पर पत्रकारिता एवं जनसंचार संकाय से प्रो. सौरभ सूद ने प्रो. आर्य और प्राचार्य अंजू बत्ता सहगल का आभार व्यक्त किया इस अवसर पर प्रो. कुसूम शर्मा,डा. मुकुल, विकास राणा, प्रो. संजय कुमार, प्रो. सुरेंद्र ठाकुर व भारी सख्ंया में छात्र-छात्राएं उपस्थित रहे।
आनलाइन प्रशिक्षण में प्रो. उमेश आर्य ने दी ट्रेनिंग
धर्मशाला, 13 नवम्बर (विजयेन्दर शर्मा) । सोशल मीडिया और आनलाइन साइटस भ्रामक एवं नकली समाचार फैलाने का सबसे बड़ा माध्यम है। आम जनमानस बिना किसी पुष्टि के ऐसी भ्रामक व तथ्य हीन समाचारों को आगे शेयर कर देते हैं। नेताजी सुभाष चंद्र बोष स्मारक में पत्रकारिता एवं जनसंचार संकाय के छात्रों को आनलाइन प्रशिक्षण कार्यक्रम को संबोधित करते हुए गुरू जंबेशवर विश्वविद्यालय के मीडिया स्टडीज के डीन प्रो. उमेश आर्य ने यह बात कही। उन्होंने कहा कि सोशल मीडिया प्लेटफार्म पर तथ्यहीन भ्रामक खबरें फैलाने पर दोषी व्यक्तियों पर भारतीय दंड संहिता की विभिन्न धाराओं के तहत कानूनी कारवाई की जा सकती हे। उन्होंने कहा कि सोशल मीडिया प्लेटफार्म का कार्य जनता को सच परोसना हे, लेकिन यह फर्जी अफवाहें फैलाने का सबसे प्रमुख माध्यम बन गए हैं। उन्होंने छात्रों को नकली व भ्रामक समाचारों की पहचान करने की हैंड आन ट्रेनिंग दी। साथ ही उन्होंने इससे संबंधित टूलस से भी छात्रों को अवगत करवाया इससे पूर्व महाविद्यालय की प्राचार्य डा. अंजू बत्ता सहगल ने प्रो. उमेश आर्य का स्वागत करते हुए कहा कि भ्रामक खबरें तेजी से आनलाइन प्लेटफार्म पर फैलती हैं जिनपर लगाम लगाना जरूरी हे। उन्होंने कहा कि हमीरपुर महाविद्यालय के पत्रकारिता विभाग का यह प्रयास सराहनीय हे कि छात्रों को गूगल न्यूज इनिसिएटिव के भारतीय ट्रेनर प्रो. उमेश कार्य से यह प्रशिक्षण हासिल हो रहा हे। इस मौके पर पत्रकारिता एवं जनसंचार संकाय से प्रो. सौरभ सूद ने प्रो. आर्य और प्राचार्य अंजू बत्ता सहगल का आभार व्यक्त किया इस अवसर पर प्रो. कुसूम शर्मा,डा. मुकुल, विकास राणा, प्रो. संजय कुमार, प्रो. सुरेंद्र ठाकुर व भारी सख्ंया में छात्र-छात्राएं उपस्थित रहे।