हिमाचल प्रदेश स्कूल शिक्षा बोर्ड के मेंबर बने सत्यपाल शर्मा
अध्यापन के क्षेत्र में शिक्षा की लौ जलाकर हजारों छात्रों को उनकी मंजिल तक पहुंचाने और समाजसेवा के लिए कई अवार्ड जीत चुके राष्ट्रपति अध्यापक पुरस्कार विजेता सत्यपाल शर्मा को सुक्खू सरकार ने हिमाचल प्रदेश स्कूल शिक्षा बोर्ड का सदस्य मनोनीत किया है। जिससे ज्वालामुखी में खुशी की लहर है। कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने आज उनके आवास पर पहुंच कर बधाईयों दीं।
सत्यपाल शर्मा शिक्षा में योगदान के साथ समाजसेवा में भी अग्रणी भूमिका निभाते रहे हैं। उनका जन्म 17 दिसंबर, 1941 को ज्वालामुखी के बस्दी गाव में हुआ । बनवारी लाल व रुकमणि देवी के घर जन्मे सत्यपाल शर्मा ने राजकीय अध्यापक संघ हिमाचल प्रदेश के विभिन्न पदों पर रहते हुए कर्मचारी हित के लिए कई कार्य किए। वह वर्ष 2005 से समाजसेवी संस्था विकास एवं जन चेतना मंच ज्वालामुखी के कोषाध्यक्ष के रूप में बेहतरीन कार्य किया हैं। इसके साथ ही राजनीति में भी सक्रिय रहे। ज्वालामुखी के लोग उन्हें गुरु जी कहकर पुकारते हैं। वह विधायक संजय रतन के गुरु भी रहे हैं।
सत्यपाल शर्मा को वर्ष 1981 में भारतीय जनगणना में श्रेष्ठ कार्य के लिए भारतीय चुनाव आयोग द्वारा 26 जनवरी 1982 को रजक पदक से नवाजा गया था। वहीं, पांच सितंबर 1994 को राज्य अध्यापक पुरस्कार से सम्मानित हुए। पांच सितंबर 1997 को उन्हें राष्ट्रपति अध्यापक पुरस्कार मिला था।
सत्यपाल शर्मा ने बताया कि वह मुख्यमंत्री सुखविन्दर सिंह सुक्खू , शिक्षा मंत्री रोहित ठाकुर व विधायक संजय रतन के शुक्रगुजार हैं, जिन्होंने उन्हें इस पद के काबिल समझा। उन्होंने कहा कि उन्हें जो जिम्मेवारी मिली है , उसे वह बखूबी निभायेंगे।
अध्यापन के क्षेत्र में शिक्षा की लौ जलाकर हजारों छात्रों को उनकी मंजिल तक पहुंचाने और समाजसेवा के लिए कई अवार्ड जीत चुके राष्ट्रपति अध्यापक पुरस्कार विजेता सत्यपाल शर्मा को सुक्खू सरकार ने हिमाचल प्रदेश स्कूल शिक्षा बोर्ड का सदस्य मनोनीत किया है। जिससे ज्वालामुखी में खुशी की लहर है। कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने आज उनके आवास पर पहुंच कर बधाईयों दीं।
सत्यपाल शर्मा शिक्षा में योगदान के साथ समाजसेवा में भी अग्रणी भूमिका निभाते रहे हैं। उनका जन्म 17 दिसंबर, 1941 को ज्वालामुखी के बस्दी गाव में हुआ । बनवारी लाल व रुकमणि देवी के घर जन्मे सत्यपाल शर्मा ने राजकीय अध्यापक संघ हिमाचल प्रदेश के विभिन्न पदों पर रहते हुए कर्मचारी हित के लिए कई कार्य किए। वह वर्ष 2005 से समाजसेवी संस्था विकास एवं जन चेतना मंच ज्वालामुखी के कोषाध्यक्ष के रूप में बेहतरीन कार्य किया हैं। इसके साथ ही राजनीति में भी सक्रिय रहे। ज्वालामुखी के लोग उन्हें गुरु जी कहकर पुकारते हैं। वह विधायक संजय रतन के गुरु भी रहे हैं।
सत्यपाल शर्मा को वर्ष 1981 में भारतीय जनगणना में श्रेष्ठ कार्य के लिए भारतीय चुनाव आयोग द्वारा 26 जनवरी 1982 को रजक पदक से नवाजा गया था। वहीं, पांच सितंबर 1994 को राज्य अध्यापक पुरस्कार से सम्मानित हुए। पांच सितंबर 1997 को उन्हें राष्ट्रपति अध्यापक पुरस्कार मिला था।
सत्यपाल शर्मा ने बताया कि वह मुख्यमंत्री सुखविन्दर सिंह सुक्खू , शिक्षा मंत्री रोहित ठाकुर व विधायक संजय रतन के शुक्रगुजार हैं, जिन्होंने उन्हें इस पद के काबिल समझा। उन्होंने कहा कि उन्हें जो जिम्मेवारी मिली है , उसे वह बखूबी निभायेंगे।
Bijender Sharma*, Press Correspondent Bohan Dehra Road JAWALAMUKHI-176031, Kangra HP(INDIA)*
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